जिले मे डेंगू बरपा रहा है कहार, कई दर्जन लोगों की हो चुकी है मौत, स्वास्थ्य विभाग खामोश, कई गांव में लोग घर-घर बीमार
कौशाम्बी । यूपी के कौशांबी जिले में अब डेंगू के डंक ने कहर बरपाना शुरू कर दिया है। जिले में 18 दिनों में 36 लोगो की डेंगू बुखार से मौत हो गई है। डेंगू की रोकथाम के लिए स्वास्थ्य विभाग की ओर से उठाए जा रहे तमाम कदम बेकार साबित हो रहे हैं। हालात कुछ ऐसे है कि 48 घंटे के भीतर डेंगू बुखार ने जिले में 13 लोगो की जान ले ली है।
सीएचसी आलमचन्द क्षेत्र के तीन गांवों में 24 घंटे के भीतर डेंगू से 5 लोगो की मौत से हड़कंप मचा है। चायल तहसील क्षेत्र में भी डेंगू बुखार से मरने वालों का आंकड़ा बढ़कर 11 पहुंच गया है। सिराथू तहसील क्षेत्र में भी ऐसे ही हालात है। यहां डेंगू बुखार से अब तक तीन बच्चे सहित 12 लोगो की मौत हो गई है । अनेठा गांव मे कई दर्जन लोग डेंगू बुखार से ग्रसित है वही एक लड़की को तेजमाति हॉस्पिटल में भर्ती कर इलाज के बाद भी मौत हो गई है । वहीं मंझनपुर तहसील क्षेत्र के कई गांव में डेंगू ने पैर पसारना शुरू कर दिया है। यहां भी डेंगू बुखार ने अब तक 13 लोगो की जान ले ली है। जिले के सरकारी अस्पतालों का भी बुराहाल है। इलाज के अभाव में डेंगू बुखार से पीड़ित मरीज अपनी जान बचाने के लिए अब प्राइवेट अस्पतालों की तरफ रुख कर रहें है।
इसी तरह पिछले माह चायल तहसील के कई गांव में दर्जनों लोगों की बुखार से मौत हो चुकी है । हैरानी की बात यह है कि जिले में डेंगू से हो रही मौतों पर अभी स्वास्थ्य विभाग की तरफ से कोई आंकड़ा भी जारी नही किया गया है। सीएमओ सुष्पेंद्र कुमार अपनी नाकामियों पर पर्दा डालने के लिए वही रटारटाया जवाब दे रहें है कि जब तक एलाइजा टेस्ट में डेंगू पॉजिटिव रिपोर्ट नही आ जाती, तब तक डेंगू से मौत पृष्टि नही की जा सकती है। ऐसे में सवाल बड़ा हो जाता है कि टेस्ट के बाद डेंगू पॉजिटिव की रिपोर्ट देने वाले शहर के उन तमाम पैथोलॉजी संचालको पर फिर स्वास्थ्य विभाग एक्शन क्यों नही ले रहा है ।
BYTE- सुष्पेंद्र कुमार, CMO कौशांबी